15 April
2015
08:54
-इंदु बाला सिंह
इतनी भारी थी मैं
ओ मेरे पिता !
कि
दान कर मुझे
बोझमुक्त हुये तुम .........
मर जाउंगी मैं
पर
पैदा न करूंगी बिटिया ........
मैं अभागन
अवैतनिक मजदूर
न पैदा करूंगी मुझ सरीखी |
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